कविता भी चूमने लगे दरबारों के तलवे तो भारत में भारत की व्यथा कौन कहेगा
उन्नाव।
शहर के नार्मल मैदान में अभ्युदय सेवा संस्थान के पांचवें अखिल भारतीय कवि सम्मेलन में वाणी पुत्रों ने अपनी कविताओं से काव्य की धारा बहाकर श्रोताओं को मंत्र मुग्ध किया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि राज्य मंत्री मोहसिन रजा ने पत्रिका का विमोचन किया। कवि अतुल मिश्रा को समर्पित रहे सम्मेलन में उन्हें याद कर श्रद्धांजलि अर्पित की गई।
शनिवार शाम आयोजित कार्यक्रम का शुभारंभ दिल्ली से आई यश भारती प्राप्त डॉ. सरिता शर्मा ने सरस्वती वंदना से किया। ओज के कवि श्याम त्रिवेदी पंकज ने एकलव्य कर्ण वाली कथा कौन कहेगा, ऊसर में बीज फल वाली कथा कौन कहेगा। कविता भी चूमने लगे दरबारों के तलवे तो भारत में भारत की व्यथा कौन कहेगा, पढ़कर लोगों में जोश भर दिया। बाराबंकी के प्रमोद पंकज ने अक्कड़ बक्कड़ बंबे बो नब्बे डीजल व सौ पेट्रोल पढ़कर महंगाई पर कटाक्ष किया।
इसके अलावा लखीमपुर के ज्ञान प्रकाश आकुल और नवल सुधांशु, बनारस के बनारसी, मथुरा के मनवीर मधुर, स्वयं श्रीवास्तव आदि ने भी शानदार प्रस्तुति दी। इस दौरान गौरव अवस्थी, डॉ. प्रभात सिन्हा, प्रवीण मिश्र, ओपी तिवारी, मनोज श्रीवास्तव, राम तनेजा, डॉ. उमेश बाजपेई, शिशिर अस्थाना, विमल द्विवेदी, परीक्षित अवस्थी ,प्रेम सिंह सेंगर, जी.एस. भदौरिया, राकेश द्विवेदी, शशांक जायसवाल, शिवांग बाजपेई, डॉ अनुराग अग्रवाल, डॉ. अखिलेश सिंह डॉ. रेखा सिंह, निम्मी अरोड़ा ,साधना दीक्षित ,वंदना श्रीवास्तव, दीपशिखा, वंदना सिन्हा, नीलम सिंह, आरती यादव आदि मौजूद रहीं।
