मुंसिफ कोर्ट के विरोध में हड़ताल पर रहे वकील
पीलीभीत।
जिला मुख्यालय के अधिवक्ताओं की बैठक में सर्वसम्मति से तय किया गया कि पूरनपुर में मुंसिफ अदालत की स्थापना के विरोध में वे 23 दिसंबर को भी कलम बंद हड़ताल पर रहेंगे। अदालती कामकाज ठप रहेगा। बुधवार को भी अधिवक्ताओं ने कलम बंद हड़ताल रखी। मांगों के समर्थन में मुख्यमंत्री सहित आला अधिकारियों को ज्ञापन भेजने का निर्णय लिया गया।
बुधवार की दोपहर संयुक्त बार एसोसिएशन के अध्यक्ष बाबूराम शर्मा, सेंट्रल बार एसोसिएशन के अध्यक्ष संतराम राठौर और सिविल बार एसोसिएशन के अध्यक्ष आलोक नगाइच की मौजूदगी में अधिवक्ताओं की बैठक हुई। बैठक में कहा गया कि पूरनपुर तहसील में मुंसिफ अदालत की स्थापना होने से वादकारियों के हितों पर कुठाराघात होगा। उन्हें बेहतर न्याय नहीं मिल सकेगा। यह भी कहा गया कि मामलों की अपील और रिवीजन जिला मुख्यालय पर ही होंगे। इस कारण वादकारियों को दोगुना खर्चा करना पड़ेगा। बैठक में तय किया गया कि पूरनपुर में मुंसिफ अदालत बनाए जाने के विरोध में बृहस्पतिवार को भी मुख्यालय के सभी अधिवक्ता कलम बंद हड़ताल पर रहेंगे । अदालती कामकाज नहीं करेंगे। अपनी मांगों के समर्थन में बुधवार को भी अधिवक्ताओं ने कलम बंद हड़ताल रखी। अदालती कामकाज ठप रहा। बैठक के बाद संयुक्त बार एसोसिएशन के सचिव कुलदीप अवस्थी, सेंट्रल बार एसोसिएशन के सचिव विकास शर्मा और सिविल बार एसोसिएशन के सचिव मोहन स्वरूप गंगवार ने बताया कि हड़ताल पर रहने की सूचना न्यायिक और प्रशासनिक अधिकारियों को दे दी गई है। गुरुवार को उच्च अधिकारियों को ज्ञापन भेजा जाएगा।
जिला एवं सत्र न्यायाधीश को संबोधित ज्ञापन नायब तहसीलदार को सौंपा
पूरनपुर में वकीलों ने मुंसिफ कोर्ट की मांग को लेकर जुलूस निकालकर एसडीएम कार्यालय के बाहर प्रदर्शन किया। जिला एवं सत्र न्यायाधीश को संबोधित ज्ञापन एसडीएम की गैर मौजूदगी में नायब तहसीलदार को सौंपा। ज्ञापन में स्थलीय निरीक्षण करने की मांग की।
पूरनपुर की वकील नगर मेें मुंसिफ कोर्ट की मांग लंबे समय से कर रहे है। जिला मुख्यालय के वकील इसके विरोध में आंदोलन की तैयारी में है। बुधवार को पूरनपुर में वकीलों ने मुंसिफ कोर्ट की मांग को लेकर जुलूस निकालकर प्रदर्शन किया और जिला एवं सत्र न्यायाधीस को संबोधित ज्ञापन नायब तहसीलदार को सौंपा। ज्ञापन में कहा गया कि पूरनपुर तहसील सबसे बड़ी है। विकेंद्रीयकरण नीति के तहत मुंसिफ कोर्ट की स्थापना हो रही है। पूरनपुर जिला मुख्यालय से 40 किलोमीटर से अधिक दूरी पर है। मुंसिफ और सिविल जज के स्तर के सर्वाधिक वाद लंबित है। डीएम ने नगर में मानक के अनुरूप ही वैकल्पिक न्यायालय की स्थापना को भवन और स्थाई निर्माण को मानक के अनुरूप जमीन दिलवाने का आश्वासन दिया है। डीएम के सहयोग से भवन खाली कराया गया। जमीन का चिन्हीकरण कराया गया। ज्ञापन में वादकारियों के हित को दृष्टिगत रखने हुए तहसील मुख्यालय आकर वैकल्पिक व्यवस्था को दिए गए भवन और जमीन का स्थलीय निरीक्षक और ग्रामीण न्यायालय की प्रगति के निरीक्षण की मांग की गई है।
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