हिंदी के बजाय अरबी पढ़ने को मजबूर नौनिहाल
बलरामपुर।
शिक्षकों के घोर लापरवाही के चलते नौनिहालों को हिंदी के बजाय अरबी में ककहरा पढ़ने की मजबूरी बन गई है। सहायक शिक्षा निदेशक के औचक निरीक्षण में परिषदीय विद्यालयों के खामियों का खुलासा हुआ है। शिक्षा क्षेत्र गैसड़ी के कई स्कूलों का सहायक शिक्षा निदेशक ने औचक निरीक्षण कर शिक्षण व अन्य कार्यों के गतिविधियों का जायजा लिया। सहायक शिक्षा निदेशक ने बीएसए डॉ. रामचंद्र को लापरवाह शिक्षकों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने का निर्देश दिया है।
सहायक शिक्षा निदेशक देवीपाटन मंडल गोंडा विनय मोहन वन ने बताया कि उन्होने शिक्षा क्षेत्र गैसड़ी के कई स्कूलों का औचक निरीक्षण कर जायजा लिया। प्राथमिक विद्यालय गिरधरडीह में सहायक अध्यापिका अनीता गौतम बिना किसी सूचना के अनुपस्थित पाई गईं। विद्यालय के दो अध्यापक अवकाश पर मिले। मौके पर विद्यालय में सिर्फ दो रसोइयां उपस्थित मिलीं। सात बच्चे विद्यालय में मौजूद मिले जबकि बाकी बच्चे घर जा चुके थे। बच्चों ने बताया कि विद्यालय में पढ़ाई न होने से दोपहर बाद मदरसे में अरबी पढ़ने जाते हैं। प्राथमिक विद्यालय पिपरी लौकी खुर्द के निरीक्षण में प्रधानाध्यापक व एक सहायक अध्यापक उपस्थित मिले जबकि दूसरे सहायक अध्यापक आशीष दूबे एक दिसंबर से बिना किसी सूचना के विद्यालय में अनुपस्थित पाए गए। ग्रामीणों व बच्चों ने बताया कि माह में एक या दो बार आते हैं और हस्ताक्षर बनाकर चले जाते हैं।
विद्यालय में कक्षा चार व पांच के किसी भी बच्चे को अभी तक अंग्रेजी की किताब नहीं मिली है। अध्यापकों को माड्यूल व मिशन प्रेरणा की पूरी जानकारी नहीं है इस बात का भी खुलासा हुआ है। कंपोजिट विद्यालय नगई में सभी शिक्षक उपस्थित मिले। शिक्षिका शुभांगी कल्याण चिकत्सकीय अवकाश पर पाई गई। शिक्षामित्र धनेश्वर प्रसाद यादव हस्ताक्षर करके चले गए थे। शौचालय में रनिंग वाटर नहीं है। दो शिक्षकों को आईकार्ड नहीं मिला है। दीक्षा एप पर बच्चों का पाठ्यक्रम पूरा नहीं है। नवंबर माह में शिक्षक संकुल की बैठक नहीं हुई है। विद्यालय के किसी भी अध्यापक के पास शिक्षक डायरी नहीं मिली।
उच्च प्राथमिक विद्यालय पिपरी में प्रधानाध्यापक उमाशंकर पांडेय शिक्षण कार्य करने के बजाय बैठे मिले। विद्यालय में अनुदेशक नहीं है। मल्टीपल हैंडवॉश नहीं बना है। मौके पर मात्र 12 बच्चे उपस्थित मिले। बीईओ गैसड़ी कुलदीप नारायण सिंह को अनुपस्थित अध्यापकों के वेतन रोकने का निर्देश दिया गया है।