लखीमपुर किसान घटना से सावधान,कहीं आप ना बन जाएं ‘साइबर अपराधी’ – मोहित बजाज
उत्तर प्रदेश में बीते कुछ घंटों से लखीमपुर किसान आंदोलन के नाम पर हुई घटना ने तूल पकड़ लिया है, गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश में 2022 विधानसभा चुनाव होने हैं और चुनावी माहौल को देखते हुए कई राजनीतिक दल अपनी चुनावी रोटियां सेखने का काम करेंगे, लेकिन आप लोगों को किसी भी समाचार, किसी भी वीडियो को साझा करने से पहले सोचने की जरूरत है , कई ऐसे दुष्ट प्रवृत्ति के लोग गलत जानकारी साझा करके दंगा भड़काने और उत्तर प्रदेश में कानून व्यवस्था बिगाड़ने की कोशिश करेंगे, इसको देखते हुए उत्तर प्रदेश के लखीमपुर में सरकार के आदेशों द्वारा इंटरनेट सेवाओं को बंद कर दिया गया है, लेकिन यह एक मात्र पहल है : देश के अन्य राज्य जहां किसी गलत वीडियो से या फोटो से सौहार्द बिगाड़ने की कोशिश की जा सकती है उन्हे भी सतर्क रहने की जरूरत है ।
इसलिए, आपसे अनुरोध है की फेसबुक पर साझा की गई वीडियो और व्हाट्सएप ग्रुप में आए फोटो आदि को साझा करने से पहले सोच लें, ऐसा करने पर आईटी एक्ट 2000 एवं भारतीय दंड संहिता 1860 के अंतर्गत कानूनी कार्यवाही की जा सकती है, और यह जरूरी नहीं कि वह वीडियो आप ही ने बनाया हो – अगर आप उसको (साझा) यानी शेयर भी करते हैं तो भी कानूनी कार्यवाही की जा सकती है, रही बात उत्तर प्रदेश में वर्तमान सरकार की तो दोषी चाहे बीजेपी हो, चाहे कोई अन्य दल उसका विरोध करना संविधानिक अधिकार हमारा है उसे कोई अलग नहीं कर सकता, लेकिन सबसे पहले सच सामने आना बेहद जरूरी है ।
अभी तक सच सामने नहीं आया है, याद रखिए कुछ जगह साफ तौर पर यह कहा जा रहा है की गाड़ी ने किसानों को कुचल दिया या फिर किसानों के ऊपर गाड़ी चढ़ाई गई जिससे मृत्यु हुई, लेकिन यह एक मात्र एक अफवाह है : अभी यह जांच का विषय है जब तक तथ्य सामने नहीं आ जाते, तब तक किसी निर्णय पर पहुंचना उचित नहीं है, इसलिए उत्तर प्रदेश एवं देशवासियों से एडवोकेट मोहित बजाज साइबर एक्सपर्ट ने यह अनुरोध किया है कि आप किसी भी वीडियो को साझा करने से पहले एक बार उसको सत्यापित कर ले एवं किसी भी भ्रामक खबर या साइबर टेररिज्म आदि फैलने की सूचना हो तो अपने नजदीकी थाने को तुरंत सूचित करें ।